देहरादून । महाराष्ट्र की राजनीति में शनिवार को बड़ा उलट फेर हुआ है। शिव सेना और कांग्रेस को बड़ा झटका देते हुए भाजपा
और एनसीपी की सरकार बन गई है, वहीं फडणवीस ने दोबारा मुख्यमंत्री व एनसीपी से अजित पंवार डिप्टी सीएम बन गए है।
राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने शपथ दिलाई। एनसीपी मुखिया शरद पंवार भी देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व में महाराष्ट्र सरकार के
गठन के लिए हुई चर्चा का हिस्सा थे। उन्होंने ही महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम के रूप में अजीत पंवार के नाम पर सहमति दी है।
महाराष्ट्र में कांग्रेस-एनसीपी और शिवसेना की नई सरकार बनने के संकेत देते हुए शुक्रवार को ही एनसीपी के मुखिया शरद पवार ने
शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के नाम पर हामी भर दी थी, लेकिन अब वो ही एनसीपी-भाजपा के साथ मिलकर महाराष्ट्र में सरकार
बना रही है।
कांग्रेस-एनसीपी-शिवसेना को मिलाकर बने नए गठबंधन के शीर्ष नेताओं की शुक्रवार को हुई बैठक के बाद एनसीपी अध्यक्ष शरद
पंवार ने कहा था कि सरकार का नेतृत्व शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे के हाथ में रहने पर सहमति बन गई है और अन्य सभी मुद्दों पर
चर्चा जारी है।
विधानसभा चुनाव के बाद किसी भी दल द्वारा बहुमत के लिए आवश्यक 145 विधायकों की संख्या हासिल नहीं कर पाने के कारण
महाराष्ट्र में 12 नवंबर को राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी ने राष्ट्रपति शासन की सिफारिश कर दी थी, लेकिन उसके बाद से ही कांग्रेस
एनसीपी-शिवसेना एक नया गठबंधन बनाकर सरकार गठन की तैयारियों में लगे थे। हालांकि, शनिवार को जो तस्वीर साफ हुई है,
उसे देख सब हैरान है। एक तरफ जहां शुक्रवार को एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने महाराष्ट्र के सीएम पद के लिए उद्धव ठाकरे का
नाम आगे किया था, अब वही एनसीपी ने भाजपा के साथ हाथ मिला लिया है।
मालूम हो कि पिछला विधानसभा चुनाव महाराष्ट्र में दो गठबंधनों के बीच हुआ था। एक गठबंधन के मुख्य दल भाजपा और शिवसेना
थे तो दूसरे गठबंधन के मुख्य दल कांग्रेस-एनसीपी, जिसमें भाजपा को सर्वाधिक 105, शिवसेना को 56, एनसीपी को 54 और कांग्रेस
को 44 सीटें हासिल हुईं थी।
चुनाव परिणाम आने के बाद शिवसेना द्वारा ढाई साल के लिए मुख्यमंत्री पद की मांग करने के कारण भाजपा के साथ उसका
गठबंधन टूट गया। शिवसेना नेता चुनाव के पहले से ही यह दावा करते रहे हैं कि वह महाराष्ट्र में अपना मुख्यमंत्री बनाकर शिवसेना
संस्थापक बालासाहब ठाकरे के सपनों को पूरा करेंगे। हालांकि, इसे लेकर शिवसेना ने कांग्रेस-एनसीपी के सहयोग से महाराष्ट्र में
सरकार बनाना चाहा लेकिन भाजपा ने एक बड़ा उलटफेर करते हुए महाराष्ट्र में एनसीपी के साथ सरकार बना ली है।